अपराधउत्तराखंडएक्सक्यूसिवदेशदेहरादूनराजनीतिराज्य

पीएम किसान सम्मान निधि को अधिकारियों ने दिखाया ठेंगा

12वीं किस्त रोकी, खाता संख्या और जमीन का रिकार्ड किया गायब

Dehradun. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लाखों किसानों के लिए अनेक महत्वपूर्ण योजनाएं चला रहे हैं। जिनमें से एक प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि भी है।

पीएम मोदी ने मझले और छोटे किसानों को लाभ पहुंचाने के लिए पीएम किसान सम्मान निधि की शुरूवात 2019 में प्रधानमंत्री मोदी द्वारा की गई थी। जिसमें किसानों को एक वर्ष में तीन बार दो हजार रूपए के हिसाब से कुल छह हजार रूपए दिए जाने का प्रावधान किया गया है। यह पैसा सीधे किसानों के खाते में पहुंचता है। बीते 17 अक्टूबर को प्रधानमंत्री मोदी ने किसान सम्मान निधि की 12वीं किस्त जारी की है।

लेकिन सैकड़ों किसान ऐसे हैं जिनके खाते में 11 किस्तें आने के बाद 12वीं किस्त अब तक नहीं पहुंची है। किसान तहसील और कृर्षि विभाग के चक्कर काटकर परेशान हैं। लेकिन उन्हे कोई ठोस जानकारी नहीं दी जा रही है।

सभी अधिकारी किसानों को इधर से उधर भेजकर चक्कर कटवा रहे हैं। जिस कारण किसानों को अभी तक ये पता ही चल पाया है कि उनकी किसान सम्मान निधि क्यों रोकी गई है। और उन्हे वापस किसान सम्मान निधि पाने को क्या करना होगा।

जो पढ़े-लिखे किसान हैं। वो ऑन लाइन अपना रिकार्ड रजिस्ट्रड मोबाइल नंबर ड़ालकर देख रहे हैं। जिसमें 11वीं किस्त आने के बाद अब ऑन 12वीं किस्त नहीं दिखाई गई है। ऑन लाइन चेक करने पर खाता संख्या एनए और लैंड सीडिंग नो दिखाया जा रहा है।

जिसका मतलब है कि सैकड़ों किसानों को 11वीं किस्त मिलने के बाद अब उनका खाता संख्या और लैंड रिकार्ड अधिकारियों द्वारा गायब कर दिया गया है।

जिन किसानों ने अपनी केवाईसी करवा ली है। उनका भी रिकार्ड ऑन लाइन यही दिखा रहा है। किसानों के खातों में 11 किस्त आने के बाद 12 किस्त क्यों नहीं आई इसका जवाब कोई भी अधिकारी नहीं दे पा रहा है।

और किसानों के सम्मान निधि ऑन लाइन रिकार्ड से लैंड रिकार्ड और खाता संख्या कैसे गायब हो गए हैं। इसकी जानकारी भी कोई अधिकारी नहीं दे पा रहा है। किसान तहसील और कृर्षि विभाग के चक्कर काट-काटकर परेशान हो चुके हैं।

रिकार्ड ठीक कौन करेगा किसी अधिकारी को पता नहीं

Dehradun. किसान सम्मान निधि की 12वीं किस्त किसानों के खातों में नहीं आई। ये एक समस्या है। लेकिन इससे भी बड़ी समस्या ये है कि जिन किसानों को ये पता लग चुका है कि उनके ऑन लाइन रिकार्ड में गड़बड़ी की गई है। वो अपना रिकार्ड कहां ठीक करवाएं ये जानकारी कोई दे ही नहीं रहा है।

तहसील में किसान सम्मान निधि का ऑन लाइन रिकार्ड ठीक करने की कोई व्यवस्था नहीं है। तहसील वाले कृर्षि विभाग में भेज रहे हैं। जबकि ब्लॉक कृर्षि विभाग वालों के पास भी ऑन लाइन रिकार्ड ठीक करने की कोई व्यवस्था नहीं है।

वो जिला कृर्षि विभाग के पास जाने को कह रहे हैं। जबकि जिला कृर्षि अधिकारी लतिका सिंह को जब फोन पर यह समस्या बताई तो उन्होंने जवाब दिया कि सम्मान निधि कई लॉट में जारी हुई है।  कुछ दिन में किसान सम्मान निधि किसानों के खाते में पहुंच जाएगी।

लेकिन कुछ दिन बाद भी जब किसान सम्मान निधि किसानों के खातों में नहीं पहुंची तो अब जिला कृर्षि अधिकारी द्वारा किसानों से कहा जा रहा है कि आप अपनी जमीन की फर्द तहसील से वेरीफाई करवाकर उनके यहां जमा करवाइए। जबकि तहसील से जो फर्द जारी की जाती है।

उसमें दिनांक और तहसील की मोहर आदि होती है। और तहसील द्वारा जारी फर्द एक सत्यपित दस्तावेज होता है। और इसके बाद भी किसान सम्मान निधि को ऑन लाइन ठीक नहीं किया जा रहा है। और अब अधिकारियों ने किसानों के फोन उठाने बंद कर दिए हैं।

तहसील स्तर पर होनी चाहिए रिकार्ड ठीक करने की व्यवस्था

Dehradun. केवाईसी की तर्ज पर किसानों के सम्मान निधि रिकार्ड ठीक करने की व्यवस्था जनाधार केंद्रों या तहसील व ब्लॉक स्तर पर होनी चाहिए। क्योंकि जिला स्तर पर रिकार्ड ठीक करने में किसानों को कई किलोमीटर दूर जाना पड़ेगा। जिससे किसानों व रिकार्ड ठीक करने वाले अधिकारियों दोनों को परेशानियों का सामना करना पड़ेगा।

किसान अमरीश भट्ट, युद्धवीर सिंह चौहान और मीरा देवी ने कहा कि उनके खातों में 11 किस्त आने के बाद 12वीं किस्त नहीं आई है। और अब ऑन लाइन उनका सम्मान निधि का रिकार्ड गलत दिखा रहा है। जिसे संबधित अधिकारी ठीक करने को तैयार नहीं हैं।

ये भी पढ़ें:  सीएम धामी का दिल्ली दौरा, पीएम मोदी के द्वारा ली जाने वाले बैठकों में होंगे शामिल

Related Articles

Back to top button
error: Content is protected !!